जन जन के राम , एक आदर्श पुत्र, आदर्श भाई, आदर्श पति, आदर्श पिता, आदर्श शिष्य, आदर्श योद्धा और आदर्श राजा


 एक आदर्श पुत्र, आदर्श भाई, आदर्श पति, आदर्श पिता, आदर्श शिष्य, आदर्श योद्धा और आदर्श राजा के रूप में यदि किसीका नाम लेना हो तो भगवान श्रीरामजी का ही नाम सबकी जुबान पर आता है।
 


इसलिए राम-राज्य की महिमा आज लाखों-लाखों वर्षों के बाद भी गायी जाती है।

श्री राम भगवान विष्णु के एक अवतार माने जाते हैं। उनका जन्म वैवस्वत मन्वंतर में 23 वे चतुर्युग के त्रेता में हुआ था। वे भगवान रामायण में वर्णित हैं और उन्होंने एक आदर्श चरित्र प्रस्तुत किया था जो समाज को एक सूत्र में बांधा था। उनके जीवन और शिक्षाएं युगों-युगों तक मानवजाति का मार्गदर्शन करती रहेंगीं l

 श्री राम का जीवन हमें बहुत कुछ सिखाता है

माता पिता का सम्मान करना: श्री राम के जीवन से हमें माता कैकई का सम्मान करने की प्रेरणा मिलती हैl

धैर्य रखना: श्री राम के जीवन से हम धैर्य रखना सीख सकते हैं

टीम भावना: भगवान राम ने हमेशा अपनी टीम को प्रोत्साहित किया, जिससे रावण जिस टीम को वानर समझने की भूल करता रहा, वो राम का नाम लेकर लंका विजय कर लाये, वो लगातार अपने लोगों का उत्साह बढ़ाते रहते थे, 

शांति से लक्ष्य की ओर बढ़ना: श्री राम के जीवन से हम शांति से लक्ष्य की ओर बढ़ना सीख सकते हैंl

त्याग और संयम के गुण को धारण करना: भगवान राम के जीवन से हम त्याग और संयम के गुण को धारण करना सीख सकते हैंl

सत्य, दया, करुणा, धर्म और मर्यादा के मार्ग पर चलना: भगवान राम ने सत्य, दया, करुणा, धर्म और मर्यादा के मार्ग पर चलते हुए समाज को प्रेरणा दी l

सामाजिक समानता के साथ काम करना: भगवान राम ने सामाजिक समानता के साथ काम कियाl

भगवान श्री राम आज के युग में भी प्रासंगिक हैं क्योंकि उनके जीवन के उदाहरण आज भी लोगों को प्रेरणा देते हैं। उनके जीवन में धर्म की स्थापना, न्याय का पालन, वचन का पालन, धर्म के लिए समर्पण और अपने परिवार और समाज के प्रति कर्तव्य का पालन जैसे मूल्यों को आज भी मानवता के लिए महत्वपूर्ण माना जाता है। इसके अलावा, भगवान राम का नाम जपने से दुख दूर होते हैं और उनके जीवन के उदाहरण से लोग अपने जीवन में सफलता प्राप्त कर सकते हैं।